सीएम ने की थी पहल, गाइडलाइन के हिसाब से काम जारी
इंडिया रिपोर्टर लाइव
रायपुर (छत्तीसगढ़)। । प्रदेश में एम्स अस्पताल, जगदलपुर मेडिकल कॉलेज के बाद अब रायपुर मेडिकल कॉलेज में भी आने वाले तीन-चार दिनों में करोना जांच शुरू हो सकती है। कोरोना जांच के लिए यहां का लैब लगभग पूरी तरह से तैयार है। आईसीएमआर गाइडलाइन के मुताबिक जो थोड़ी बहुत भी कमियां हैं, उसे जल्द दूर करने का प्रयास किया जा रहा है। अस्पताल प्रशासन का मानना है कि प्रदेश में दो जगहों के बाद तीसरी जगह भी कोरोना जांच के लिए उनके कॉलेज के लैब को केंद्र सरकार से अनुमति मिल जाएगी।
प्रदेश में कोरोना जांच सबसे पहले टाटीबंध स्थित एम्स अस्पताल में शुरू हुई। इसके बाद मुख्यमंत्री की पहल पर जगदलपुर मेडिकल कॉलेज में यह जांच सुविधा शुरू हुई। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने फिर रायपुर मेडिकल कॉलेज में जांच सुविधा शुरू कराने की पहल की। उनकी पहल पर केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय की ओर से यह संकेत दिए जा रहे हैं कि रायपुर मेडिकल कॉलेज में भी जल्द कोरोना जांच सुविधा शुरू हो जाएगी। मेडिकल कॉलेज से मिल रही जानकारी के मुताबिक इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (आईसीएमआर)की गाइड लाइन के हिसाब से यहां माइक्रोबायोलॉजी लैब को तैयार कराया जा रहा है और उन्हें उम्मीद है कि जांच सुविधा जल्द शुरू हो जाएगी।
रायपुर मेडिकल कॉलेज के माइक्रोबायोलॉजी विभाग के एचओडी प्रो. अरविंद नेरल का कहना है कि आईसीएमआर की ओर से तय मापदंडों को जल्द पूरा करने का काम यहां चल रहा है और आने वाले तीन-चार दिनों में उनके लैब में कोरोना जांच शुरू हो सकती है। जांच शुरू करने को लेकर आईसीएमआर की ओर से लगातार संकेत दिए जा रहे हैं। फिलहाल उनके लैब में गाइड लाइन के हिसाब से जो कमियां हैं, उसे जल्द दूर करने का प्रयास किया जा रहा है। लैब तैयार पर आजकल में इसकी जानकारी वहां भेज दी जाएगी, ताकि जल्द से जल्द यहां कोरोना जांच की अनुमति मिल सके। उनका कहना है कि प्रदेश में फिलहाल एम्स अस्पताल रायपुर और मेडिकल कॉलेज जगदलपुर में कोरोना जांच सुविधा है, लेकिन सीएम के प्रयास से मेडिकल कॉलेज रायपुर के लैब में भी यह जांच आने वाले तीन-चार दिनों में शुरू हो सकती है। जांच आदि को लेकर लगभग सारी तैयारी कर ली गई है। स्टाफ भी प्रशिक्षित किए जा चुके हैं। उनका कहना है कि प्रदेश में तीन जगहों पर कोरोना जांच शुरू होने से यहां के और ज्यादा लोगों की समय पर जांच हो सकेगी और बीमारी का जल्द पता लगाया जा सकेगा।