90 फीसदी से ज्यादा फिटनेस ट्रेकर फिट बैंड में ढोते हैं खतरनाक बैक्टीरिया, कई बीमारियों का खतरा, रिसर्च में चौंकाने वाले नतीजे

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इंडिया रिपोर्टर लाइव

बिलासुपर 22 अगस्त 2023। आजकल युवाओं में फिटनेस को लेकर जुनून है. कई लोग स्मार्ट वॉच या फिटबैंड पहनकर अपनी हेल्थ को ट्रैक करते रहते हैं. रनिंग हो या वॉकिंग फिटनेस ट्रैकर से लोग अपनी हेल्थ को ट्रैक करते हैं. लेकिन यदि आप भी स्मार्ट वॉच या फिटबिट्स को हाथ में पहनकर रनिंग करते हैं या पहनते हैं तो सावधान हो जाएं, क्योंकि इन स्मार्ट वॉच में हजारों खतरनाक बैक्टीरिया हो सकते हैं जो आपकी स्किन के माध्यम से आपके पेट में घुस सकता है और यह आपको कई बीमारियों की सौगात दे सकता है. यह बात हम नहीं, बल्कि एक नई रिसर्च में कही गई है. शोधकर्ताओं ने इन एप्पल वॉच या फिटनेस ट्रैकर में ई. कोलाई और स्टेफाइलोकोकॉकस एसपीपी बैक्टीरिया पाया है. ये बैक्टीरिया इंसान के इम्यून सिस्टम को कमजोर कर देता है।

नियमित रूप से सेनिटाइज करने की जरूरत

ग्लोबल डायबेट्स कम्युनिटी की वेबसाइट के मुताबिक शोधकर्ताओं ने बताया कि फिटबिट्स या एप्पल वॉच प्लास्टिक, रबर, कपड़े या लेदर के बने होते हैं जिनमें असंख्य बैक्टीरिया चिपक जाते हैं. शोध के लेखक प्रोफेसर नवादियोतो एसियोबू ने बताया, “हमने जब इस फिटबिट्स या एप्पल वॉच में पाए जाने वाले बैक्टीरिया को वर्गीकरण किया तो पाया कि इनमें हजारों बैक्टीरिया अक्सर मौजूद होते हैं जिसकी सतह को हमेशा सेनिटाइज करने की जरूरत होती है. इनमें से अधिकांश बैक्टीरिया में इंसान के इम्यून सिस्टम को प्रभावित करने की क्षमता होती है. साथ ही ये कई बीमारियों का कारण बन सकते हैं. इन चिंताओं के मद्देनजर नियमित रूप से हेल्थ केयर और सेनिटेशन की जरूरत है।

फिटनेस बैंड को इस तरह करें साफ

शोधकर्ताओं ने जब इन फिटनेस ट्रैकर स्मार्ट वॉच का परीक्षण किया तो इनमें से 95 प्रतिशत फिटनेस ट्रैकर में खतरनाक बैक्टीरिया पाया. 85 प्रतिशत डिवाइस में स्टेफायलोकॉकस एसपीपी बैक्टीरिया मिला जबकि 60 प्रतिशत रिस्टबैंड में ई.कोलाई बैक्टीरिया मिले. इनमें जो फिटबैंड कपड़े के बने थे, उनमें सबसे ज्यादा बैक्टीरिया पाए गए. इसके बाद प्लास्टिक वाले फिटबैंड में, फिर रबर वाले फिटबैंड में, इसके बाद लेदर वाले फिटबैंड में और सबसे कम मेटल वाले फिटबैंड में बैक्टीरिया पाए गए. शोधकर्ताओं ने इन फिटबैंड को साफ करने का तरीका भी खोज निकाला. शोधकर्ताओं ने बताया कि जिस सेनिटाइजर में 70 प्रतिशत तक इथेनॉल रहता है वह 99 प्रतिशत तक बैक्टीरिया को मार देता है, चाहे फिटबैंड किसी भी चीज से क्यों न बना हो. इथेनॉल 30 सेकेंड के अंदर इन बैक्टीरिया को मार देता है. वहीं एप्पल सीडेर विनेगर भी इन बैक्टीरिया को मारने में सक्षम है लेकिन इसे बैक्टीरिया को मारने में 2 मिनट का समय लगता है।

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