इंडिया रिपोर्टर लाइव
जयपुर 24 जनवरी 2022। देश में आज शांति और सद्भाव कायम करने की जरूरत है। अनेकता में एकता वाले इस मुल्क में कुछ ताकतें हमारे नौजवानों को गुमराह कर रही हैं। धर्म और जाति के आधार पर नई पीढ़ी को आपस में लड़ाने वाली इन ताकतों को हमें कामयाब नहीं होने देना है। आजादी आंदोलन के महानायकों में ब्रिटिश सत्ता से आजादी के उद्देश्य को लेकर आपसी समन्वय था। राष्ट्रपिता महात्मा गांधी से प्रभावित होकर नेताजी सुभाष चंद्र बोस आजादी की जंग में कूदे थे। गांधीजी और नेहरूजी की तरह ही उनका उद्देश्य भी देश को आजाद कराना था। आजादी के इन महानायकों में वैचारिक अंतर भले ही रहा हो, लेकिन उनमें मनभेद नहीं था, क्योंकि गांधीजी असहमति व्यक्त करने और आलोचना करने वालों का भी सम्मान करते थे। आज के माहौल में देश में सहिष्णुता की भावना कम होती जा रही है। असहमति व्यक्त करने पर लोगों को देशद्रोही बताते हुए जेल भेजा जा रहा है। नेताजी सुभाष चंद्र बोस की 125वीं जयंती पर आयोजित वर्चुअल संवाद कार्यक्रम ‘आजादी का स्वर्णिम इतिहास एवं नया भारत’ विषय संगोष्ठी को संबोधित करते हुए सीएम अशोक गहलोत ने यह बातें कहीं। उन्होंने कहा कि नेताजी सुभाष चंद्र बोस ने युवाओें में एक नया जत्बा कायम किया। साथ ही विदेश की धरती पर आजाद हिंद फौज खड़ी कर हिम्मत और साहस का परिचय दिया।
इतिहास को तोड़-मरोड़ कर पेश किया जा रहा
सीएम गहलोत ने कहा कि कुछ ताकतें हमारे नौजवानों को गुमराह कर रही हैं। इतिहास को तोड़-मरोड़ कर पेश करने के प्रयास किए जा रहे हैं। 50 वर्ष से जल रही अमर जवान ज्योति को बुझा दिया गया है। 70 साल में अर्जित की गई देश की उपलब्धियों को नकारा जा रहा है। देश आज जिस राह पर जा रहा है, उसे देखते हुए हमारी नौजवान पीढ़ी यहां की महान संस्कृति व परंपराओं के बारे में अध्ययन करे और सच्चाई की राह अपनाए। नेताजी की 125वीं जयंती पर युवा देश को एक और अखंड रखने का संकल्प लें। यही उनको सच्ची श्रद्धांजलि होगी।
नेता का एक मात्र लक्ष्य था आजादी
कला, साहित्य एवं संस्कृति मंत्री डॉ. बीडी कल्ला ने कहा कि नेताजी की आजाद हिंद फौज में युवाओं के साथ अनुभवी लोग भी थे। उनका मानना था कि युवा शक्ति और बुजुर्गों के अनुभव को साथ लेकर हम अंग्रेजों को हरा सकते हैं। नेताजी ने राष्ट्रवाद, धर्म निरपेक्षता और समता मूलक समाज के विचारों का पौधा बोया। देश की आजादी उनका एक मात्र लक्ष्य था और अपने दृढ़ निश्चय से उन्होंने ब्रिटिश साम्राज्य की नींव हिला दी। राज्यमंत्री युवा मामले और खेल विभाग अशोक चांदना ने कहा कि विभाग द्वारा विभिन्न कार्यक्रमों के माध्यम से युवाओं को स्वतंत्रता आंदोलन के महानायकों के बारे में जानकारी दी जाएगी।