
इंडिया रिपोर्टर लाइव
रायपुर 3 अगस्त 2022 । छत्तीसगढ़ की नई राजधानी से दुर्ग-राजनांदगांव के बीच भारतमाला प्रोजेक्ट के तहत प्रस्तावित नई सिक्सलेन सड़क के रास्ते में आ रहे 19 गांवों में जमीन की खरीदी-बिक्री पर रोक लगा दी गई है। जमीन खरीदने से पहले एक बार गांवों के बारे में जानकारी जरूर ले लें, ताकि परेशानी से बचा जा सके। इन गांवों की जमीनों का न तो अब नामांतरण होगा और न ही डायवर्सन। मंगलवार को इस बारे में जिला प्रशासन ने आदेश जारी किया है। जहां-जहां से भातरमाला प्रोजेक्ट के तहत बनने वाली सड़क गुजरेगी, वहां की जमीन की नाप-झोंक होगी। जमीनों को जल्द ही अधिग्रहण किया जाएगा। यह सभी गांव नवा रायपुर के आउटर इलाके में हैं। सड़क का विस्तार कर इसे मुंबई-कोलकाता हाईवे से जोड़ा जाएगा।
रायपुर कलेक्टर ने अभनपुर और आरंग के एसडीएम को जमीन की आवश्यकता से संबंधित डिटेल रिपोर्ट तैयार करने को कहा गया। भारतमाला परियोजना के तहत सड़क बनाने जिस जमीन की जरूरत होगी, उसके मालिक के नाम के साथ उसका खसरा नंबर, रकबा सब कछ डिटेल प्रोजेक्ट रिपोर्ट में रहेगा। रिपोर्ट तैयार होने के बाद जमीन की खरीदी शुरू की जाएगी। इसके बाद अधिसूचना का प्रकाशन किया जाएगा। राजनांदगांव के टेड़ेसरा, दुर्ग-भिलाई होते हुए नवा रायपुर के पारागांव तक सड़क बनेगी। इस सड़क में अभनपुर के 17 और आरंग के 2 गांवों की भूमि का अधिग्रहण किया जाएगा। नवा रायपुर से राजनांदगांव के बीच प्रस्तावित सिक्सलेन नई सड़क की लंबाई 92 किमी से अधिक होगी। अफसरों के अनुसार यह सड़क नई इकोनॉमिक कॉरीडोर होगी।
330 करोड़ मुआवजा घोटाले का लगाया था आरोप
पूर्व मंत्री चंद्रशेखर साहू ने 4 दिसंबर 2021 को भाजपा कार्यालय एकात्म परिसर में प्रेस कांफ्रेंस कर भारतमाला परियोजना के मुआवजे पर करोड़ों की बंदरबांट का आरोप लगाया था। उन्होंने कहा था कि छत्तीसगढ़ में भू-माफिया और मुआवजा माफिया सक्रिय हैं। पहले खरीदी गई जमीनों के मुआवजा में भ्रष्टाचार किया गया है। यह फर्जीवाड़ा बगैर किसी राजनीतिक संरक्षण के संभव नहीं है। अभनपुर तहसील में ही 330 करोड़ का घोटाला होने की बात उन्होंने कही थी। ऐसे में इस परियोजना में प्रदेश के 10 जिलों में बड़े मुआवजा घोटाले से इनकार नहीं किया जा सकता है। उन्होंने कहा था कि घास भूमि का भी मुआवजा बांटा गया है। प्रदेश सरकार संरक्षण में अफसरों ने यह खेल खेला है।