
इंडिया रिपोर्टर लाइव
मुंबई 02 मार्च 2025। प्रचंड बहुमत के साथ मुख्यमंत्री बने देवेन्द्र फडणवीस के लिए महाराष्ट्र विधान मंडल का बजट सत्र चुनौतीपूर्ण होगा। हालांकि पूर्ण बहुमत के कारण देवेंद्र फडणवीस मजबूत स्थिति में हैं, लेकिन महायुति गठबंधन के भीतर दरार और सूबे की बदलती सियासी गतिविधियों के कारण उन्हें आने वाले दिनों में कठिन परिस्थितियों का सामना करना पड़ सकता है। महाराष्ट्र में आगामी 3 से 26 मार्च के बीच विधानमंडल का बजट सत्र के शुरू हो रहा है। विपक्षी दल महा विकास अघाड़ी (एमवीए) ने भाजपा-शिवसेना-एनसीपी सरकार को घेरने की रणनीति तैयार की है। वहीं, उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे और उपमुख्यमंत्री अजित पवार के साथ सरकार चला रहे फडणवीस के सामने उन्हें साधे रखने की भी चुनौती है। हाल के दिनों में फडणवीस और शिंदे के बीच मतभेद खुलकर सामने आएं हैं जबकि अजित पवार कई मुद्दों पर मतभेद के बावजूद सावधानी से आगे बढ़ रहे हैं। फडणवीस की अध्यक्षता में हुई कई बैठकों में शिंदे और पवार ने भाग नहीं लिया।
सबसे ताजा उदाहरण 2027 के नासिक सिंहस्थ कुंभ मेले की तैयारियों का है जिसमें पवार और शिंदे गैरहाजिर रहे। इसके अलावा, फडणवीस ने मंत्रियों द्वारा निजी सचिवों और विशेष कार्य अधिकारी (ओएसडी) के रूप में नियुक्ति को लेकर टकराव भी है। इस वर्ष के अंत में 29 महानगरपालिकाओं के चुनाव होने हैं लेकिन, तीनों सहयोगी दलों के बीच टकराव दिन-प्रतिदिन बढ़ता जा रहा है। परभणी में एक दलित युवक की मजिस्ट्रेट हिरासत में मौत और पुणे के स्वारगेट एसटी बस डिपो में खड़ी शिव शाही बस में दुष्कर्म के मुद्दे पर एमवीए फडणवीस को घेरेगी।
विपक्ष के निशाने पर होंगे धनंजय मुंडे
विधानमंडल बजट सत्र में मंत्री धनंजय मुंडे और मंत्री माणिकराव कोकाटे विपक्ष के निशाने पर होंगे। मुंडे के करीबी वाल्मिक कराड के खिलाफ बीड में मासाजोग गांव के सरपंच संतोष देशमुख के अपहरण, और हत्या से जुड़े जबरन वसूली के मामले में चार्ज शीट दाखिल हुई है। वहीं, कोकाटे को धोखाधड़ी के एक मामले में दो साल की जेल की सजा सुनाई गई है, हालांकि उन्हें न्यायालय से राहत मिल गई है।
उद्धव की तारीफ से परेशान हैं शिंदे
उद्धव ठाकरे की पार्टी शिवसेना (यूबीटी) की ओर से देवेन्द्र फडणवीस की लगातार तारीफ की जा रही है जिसने शिंदे को परेशान कर दिया है। इसके अलावा, फडणवीस ने शिंदे के मुख्यमंत्रित्व काल में स्वास्थ्य विभाग के कई फैसलों को रद्द कर दिया है। फडणवीस ने पूर्व स्वास्थ्य मंत्री तानाजी सावंत के कार्यकाल में दिए गए 3200 करोड़ रुपए के काम को रोक दिया है। इससे भी शिंदे निराश हैं।