इंडिया रिपोर्टर लाइव
नई दिल्ली 22 अक्टूबर 2022। अरुणाचल प्रदेश में शुक्रवार को हुए सेना के हेलीकॉप्टर हादसे में जान गंवाने वाले पांचवें जवान का शव भी बरामद कर लिया गया है। कल तक चार जवानों के शव सर्च ऑपरेशन के दौरान मिले थे। आज सुबह-सुबह चलाए गए अभियान में हेलीकॉप्टर में सवार पांचवे जवान के शव को भी खोज निकाला गया है। वहीं इस हादसे में अब तक मिली जानकारी के मुताबिक, दुर्घटना से ठीक पहले विमान में तकनीकी खराबी की बात सामने आ रही है। बताया जा रहा है कि हादसे से ठीक पहले एयर ट्रैफिक कंट्रोल (एटीसी) को एक इमरजेंसी कॉल (May Day call) प्राप्त हुई थी। इसमें विमान में तकनीकी खराबी की बात कही गई थी।
कोर्ट ऑफ इंक्वायरी में बनेगा जांच का आधार
विमान में तकनीकी खराबी की बात कोर्ट ऑफ इंक्वायरी में जांच का आधार बनेगी। दरअसल, विमान हादसे का पता लगाने के लिए सेना की ओर से कोर्ट ऑफ इंक्वायरी गठित की गई है। सेना की ओर से बताया गया है कि उड़ान संचालन के दौरान मौसम अच्छा था। पायलटों के पास एडवांस लाइट हेलीकॉप्टर (वेपन सिस्टम इंटीग्रेटेड) पर 600 से अधिक संयुक्त उड़ान घंटे और उनके बीच 1800 से अधिक सेवा उड़ान घंटे का अनुभव था। इस हेलीकॉप्टर को जून, 2015 में सेवा में शामिल किया गया था।
एक महीने में दूसरा सैन्य हेलीकॉप्टर दुर्घटनाग्रस्त
अरुणाचल प्रदेश के ऊपरी सियांग जिले में शुक्रवार को सेना का एक हेलीकॉप्टर दुर्घटनाग्रस्त हो गया था। इस महीने अरुणाचल में यह दूसरा सैन्य हेलीकॉप्टर दुर्घटनाग्रस्त हुआ है। सेना के प्रवक्ता लेफ्टिनेंट कर्नल एएस वालिया ने बताया कि हादसा चीन सीमा से करीब 35 किमी दूर घने पहाड़ी क्षेत्र में हुआ। एडवांस्ड लाइट हेलीकॉप्टर (एएलएच) डब्ल्यूएसआई रुद्र एमआई-4 ने लेकाबली से उड़ान भरी थी। यह नियमित उड़ान थी। सुबह 10:43 बजे जिला मुख्यालय टूटिंग से करीब 25 किमी दक्षिण मिगिंग में हेलीकॉप्टर हादसे का शिकार हुआ।
पहला स्वदेशी सशस्त्र हेलीकॉप्टर है रुद्र
रुद्र, हिंदुस्तान एरोनॉटिक्स लि. (एचएएल) में बना है। देश के पहले स्वदेशी सशस्त्र हेलीकॉप्टर को खासतौर से भारतीय सेना के लिए युद्धक हेलीकॉप्टर के तौर पर तैयार किया गया है। यह ध्रुव एएलएच का एमके-4 वेरिएंट था और एकीकृत हथियार प्रणाली से लैस था।